Top Level Sad Shayari
तेरे गुरूर को देखकर तेरी तमन्ना ही छोड़ दी हमने, जरा हम भी तो देखे कौन चाहता है तुम्हे हमारी तरह
सिमट गया मेरा प्यार भी चंद अल्फाजों में, जब उसने कहा मोहब्बत तो है पर तुमसे नहीं.
कौन खरीदेगा अब हीरो के दाम में तुम्हारे आँसु ; वो जो दर्द का सौदागर था, मोहब्बत छोड़ दी उसने
अजीब है महोब्बत का खेल, जा मुझे नही खेलना, रूठ कोई और जाता है टूट कोई और जाता है।
बहाना क्यों बनाते हो नाराज होने का कह क्यों नही देते के अब दिल मे जगह नही तुम्हारे लिए।
मुझे रुला कर सोना तो तेरी आदत बन गई है, जिस दिन मेरी आँख ना खुली तुझे नींद से नफरत हो जायगी।
ना जाने किस बात पे वो नाराज हैं हमसे, ख्वाबों मे भी मिलता हूँ तो बात नही करती
सुना है वो मुझे भुल चुकी है, और तो कुछ नहीं बस, उसकी हिंम्मत की दाद देता हूँ।